"Agra: ताजमहल देखने आई जापान की पर्यटक से 23 लाख की धोखाधड़ी, तीन साल बाद आरोपी हुआ गिरफ्तार"





तीन साल पहले जापान की महिला पर्यटक ताजमहल देखने आई थीं। तब उनसे एक युवक ने व्यापार का झांसा देकर 23 लाख रुपये ठग लिए थे। इस मामले में पीड़ित ने शिकायत दर्ज कराई। तीन साल बाद आरोपी को गिरफ्तार कर लिया गया। 


ताजमहल देखने आने वाले पर्यटकों को रोजाना लपके धोखाधड़ी का शिकार बना रहे हैं। इस बार लाखों रुपये की धोखाधड़ी का मामला सामने आया है। जापान की महिला पर्यटक के साथ तीन साल पहले एक लपके ने सोने के जेवरात के व्यवसाय में साझीदार बनाने का झांसा देकर 23 लाख रुपये की धोखाधड़ी कर ली। पीड़िता को अपनी रिपोर्ट दर्ज कराने के लिए कई दिन तक आगरा पुलिस के चक्कर काटने पड़े। रविवार को पुलिस ने आरोपी को गिरफ्तार कर जेल भेज दिया।

जापान के क्योटो शहर की रहने वाली मेरी मरुयामा के साथ धोखाधड़ी हुई थी। वह 56 साल की हैं। वह पहली बार छह मार्च 2019 को भारत आई थीं। दिल्ली से पुष्कर गईं। इसके बाद आगरा आईं। कार चालक होटल का रास्ता भटक गया। चालक ने असद गली के रहने वाले अली हुसैन से पता पूछा। उसने लोकेशन बता दी। अगले दिन अपने चचेरे भाई के साथ होटल आ गया। उसने सोने के जेवरात की खरीद का व्यापार बताया। 

आरोपी ने पर्यटक को ऐसे जाल में फंसाया 

आरोपी ने कहा कि विदेशी के जेवरात खरीदने पर कोई कर नहीं लगता है। अगर, वो व्यापार करेंगी तो दोनों का फायदा होगा। इसमें 50 प्रतिशत का साझीदार बनाने की बात कही। यह सुनकर वो तैयार हो गईं। आरोप के मुताबिक, उसने पहले आगरा में एक जेवरात की दुकान पर खरीदारी कराई। क्रेडिट कार्ड से भुगतान किया। एटीएम से कैश भी निकाला। मुंबई ले गया। वहां भी इसी तरह से किया।

उसने कस्टम विभाग से सभी प्रक्रिया पूरी होने के बाद जेवरात भेजने की बात कही। मार्च 2019 से 18 जुलाई 2019 तक तकरीबन 23 लाख रुपये का भुगतान करा लिया। दो बार और भारत बुलाया। मगर, जेवरात नहीं भेजे। इस बारे में पूछने पर टालमटोल करने लगा। एक बार नकली पत्थर भी दे दिए। वह कोरोना संक्रमण की वजह से भारत नहीं आ सकीं। जनवरी में थाना पर्यटन में शिकायत की। इस पर थाना पर्यटन में जांच के बाद मुकदमा दर्ज किया गया।

अंग्रेजी बोलता है, लिखना नहीं जानता

थाना ताजगंज के प्रभारी निरीक्षक जय सिंह परिहार ने बताया कि आरोपी अली हुसैन के खिलाफ धोखाधड़ी, चौथ मांगने और अमानत में खयानत का मुकदमा दर्ज था। उसकी तलाश की जा रही थी। वह फरार हो गया था। रविवार को ताजगंज क्षेत्र में शिल्पग्राम के पास से पकड़ लिया। उससे पूछताछ की। वह ताजमहल के आसपास खड़ा रहता है। 

पर्यटकों को झांसे में लेता है। अच्छी अंग्रेजी बोल लेता है। मगर, लिखना नहीं जानता है। अंग्रेजी बोलने की वजह से पर्यटक झांसे में आ जाते हैं। उसका एक्सिस बैंक में खाता है। उसे चेक किया। इसमें रकम नहीं थी। उसने जापानी पर्यटक से लेने के बाद सारी रकम खर्च कर दी। आरोपी को कोर्ट में पेश किया, जहां से जेल भेज दिया गया।

ताज दिखाने से लेकर पार्किंग तक का लेते हैं ठेका

यह कोई पहला मामला नहीं है, जबकि किसी पर्यटक के साथ धोखाधड़ी हुई है। ताज के आसपास सक्रिय लपके पर्यटकों को झांसे में लेते हैं। ताज दिखाने से लेकर गाड़ी को खड़ी कराने का ठेका लेते हैं। टिकट भी बिना लाइन में लगे दिलाने का दावा करते हैं। लोगों के झांसे में आने पर होटल और एंपोरियम में ले जाते हैं। अधिक कीमत पर हर चीज उपलब्ध कराते हैं। कई बार पर्यटक को पता नहीं चल पाता है। पुलिस अभियान चला रही हैं, लेकिन कोई फायदा नहीं हो रहा है।